निचलौल। थाना क्षेत्र के करमहिया गांव में शुक्रवार को उस वक्त हड़कंप मच गया, जब सिवान में स्थित एक खेत में ग्रामीणों को पॉलीथिन में लिपटा हुआ संदिग्ध इलेक्ट्रॉनिक उपकरण दिखाई पड़ा। देखते ही देखते मौके पर लोगों की भीड़ जमा हो गई। ग्राम प्रधान प्रतिनिधि घनश्याम यादव की सूचना पर पुलिस के साथ एसएसबी डॉग स्क्वायड, आईबी और अन्य सुरक्षा एजेंसियों की टीमें मौके पर पहुंचीं और जांच शुरू कर दी गई है।
जानकारी के अनुसार, करमहिया गांव के कुछ किसान सुबह खेत की ओर कृषि कार्य के लिए जा रहे थे। जब वे डॉ. रमजान अली के खाली खेत के पास पहुंचे, तो अचानक उनकी नजर करीब 10 मीटर लंबी पॉलीथिन पर पड़ी, जिसमें इलेक्ट्रॉनिक उपकरण जुड़ा हुआ था। यह देख ग्रामीणों में खलबली मच गई। उन्होंने तुरंत इसकी जानकारी ग्राम प्रधान प्रतिनिधि को दी।
मौके पर पहुंचे ग्रामीणों ने बताया कि पॉलीथिन के दोनों सिरों को तांबे के तार से जोड़ा गया था। साथ ही सेंसर, सोलर पैनल और तीन सफेद रंग की सेल भी इसमें लगी हुई थी। उपकरण की बनावट देख लोग तरह-तरह की अटकलें लगाने लगे। किसी ने इसे मौसम विज्ञान से जुड़ा बताया तो किसी ने जासूसी उपकरण होने की आशंका जताई।
थाना प्रभारी निरीक्षक अखिलेश कुमार वर्मा ने बताया कि सूचना मिलते ही झूलनीपुर और ठूठीबारी एसएसबी डॉग स्क्वायड, आईबी के अधिकारी सुनील पांडेय समेत विभिन्न एजेंसियों की टीमें मौके पर पहुंचीं। जांच में अब तक किसी विस्फोटक सामग्री के होने की पुष्टि नहीं हुई है। फिलहाल संदिग्ध उपकरण और पॉलीथिन को कब्जे में लेकर जांच जारी है।
घटनास्थल भारत-नेपाल सीमा से महज छह किलोमीटर दूर है, जिससे इलाके में सनसनी फैल गई है। हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद सीमावर्ती क्षेत्र में इस तरह के उपकरण मिलने से तरह-तरह की चर्चाएं तेज हो गई हैं। ग्रामीणों का कहना है कि पहले कभी यहां इस प्रकार का उपकरण नहीं मिला है।